मऊ के सपा विधायक सुधाकर सिंह भगोड़ा घोषित?

39 साल पुराने मामले में कोर्ट ने भेजा समन, 10 जुलाई को सुनवाई

मऊ/घोसी (UP) : घोसी से समाजवादी पार्टी के विधायक सुधाकर सिंह को कोर्ट ने फरार घोषित कर दिया है. इसके बावजूद वे क्षेत्र में रहकर सक्रिय राजनीति कर रहे हैं. 1986 में एक बिजली उपकेंद्र पर प्रदर्शन के दौरान तोड़फोड़ और बवाल के मामले में उन पर केस दर्ज हुआ था. मऊ एमपी-एमएलए कोर्ट ने विधायक सुधाकर सिंह को 25 जुलाई 2023 को फरार घोषित किया था. 4 जून 2024 को विधायक ने जिला जज के समक्ष निगरानी याचिका दायर की थी. अब इस मामले में 10 जुलाई 2025 को उनकी निगरानी याचिका पर सुनवाई होगी.

फरार घोषित होने के बाद भी वे क्षेत्र में सक्रिय हैं, जिससे चर्चा का बाजार गरमाया हुआ है. दरअसल, मऊ के घोसी में वर्ष 1986 में 400 केबी विद्युत उपकेंद्र पर प्रदर्शन के दौरान बवाल हुआ था. दोहरीघाट पुलिस ने शासकीय कार्य में व्यवधान उत्पन्न करने, तोड़फोड़ और अधिकारियों के साथ दुर्व्यवहार करने सहित अन्य धाराओं में विधायक सुधाकर सिंह के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया था. उस समय यह केस तत्कालीन जनपद न्यायालय आजमगढ़ में विचाराधीन था,

कोर्ट के निर्णय के बाद सपा विधायक सुधाकर सिंह ने अपना बयान जारी किया है. उन्होंने कहा कि वे भगोड़ा नहीं हैं और उनके खिलाफ चल रहे तीन मुकदमे अभी भी कोर्ट में हैं. उन्होंने बताया कि घोसी में उनका कोतवाली और सीओ कार्यालय उनके घर से केवल 500 मीटर की दूरी पर है, इसलिए भगोड़ा होने का आरोप निराधार है.

अब 10 जुलाई को सुनवाई
इसके बाद उपचुनाव में सुधाकर सिंह के विधायक निर्वाचित होने पर पत्रावली एमपी-एमएलए कोर्ट में स्थानांतरित कर दी गई. विधायक के वकील वीरेंद्र बहादुर पाल ने समन या वारंट तामील न किए जाने और कोर्ट के आदेश की जानकारी न होने का तर्क देकर आदेश निरस्त करने का आवेदन किया. वहीं, शासकीय अधिवक्ता अजय सिंह ने बताया कि विधायक को प्रकरण की जानकारी थी. विधायक ने कोर्ट के आदेश पर जिला विधिक सेवा प्राधिकरण कार्यालय में 2000 रुपये अर्थदंड जमा कर दिया. कोर्ट ने फरार घोषित होने के खिलाफ स्थगन आदेश न देते हुए 10 जुलाई को सुनवाई की तिथि निर्धारित की है.

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